Friday 25 November 2016

रुक्खा-सुक्खा अउ करू होथे सत् ज्ञान...

रुक्खा-सुक्खा अउ करू होथे सत् ज्ञान के बानी
लगथे अइसे जस कोनो पिया दिस महुरा-पानी
रोग-राई ल फेर जइसे जड़ ले मिटाथे करू-दवाई
ठउका अइसनेच अज्ञान मिटाथे इहू ज्ञान-दवाई

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मोबा. नं. 80853-05931, 98269-92811

Thursday 24 November 2016

जांच-टमड़ ले बने बइहा ...

जांच-टमड़ ले बने बइहा, का हावय करू-कस्सा
ठोस ज्ञान के मारग ते आय सिरिफ जी किस्सा
झन पाछू पछताना परय, ये बात ल बने गुन ले
नइते बन जाबे तहूं बस भेंड़िया धसान के हिस्सा

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मोबा. नं. 80853-05931, 98269-92811

Wednesday 23 November 2016

स्वागत हे तोर नवा बछर...










स्वागत हे तोर नवा बछर, नवा किरन बगरा देबे जी
नवा सुरुज के लाली संग, हमरो जिनगी उजरा देबे जी...

मन-अंतस करियागे हे, बिरबिट अंधियार हमागे हे
काम-क्रोध अउ ईरखा बैरी, चारों मुड़ा छरियागे हे
सात्विकता के भर के कोठी, सत्मारग ल धरा देबे जी...

रार मचे हे चारों मुड़ा, सब लहू-रकत म बूड़े हवयं
मीत-मितानी छोड़-छांड़ के एक-दूसर बर अड़े हवयं
देश-राज अउ जन-जन ल मया चिन्हार करा देबे जी...

बारी-बखरी खेत-खार म, हो जावय लछमी के बासा
चारोंमुड़ा खुशहाली उपजय बस अब हे अतके आसा
झन लांघन मरय कोनो चुल्हा, भूख-दुख परा देबे जी...

* सुशील भोले
संजय नगर (टिकरापारा)  रायपुर (छ.ग.)
मोबा. नं. 80853-05931, 98269-92811

Saturday 19 November 2016

सोन-पांखी के फांफा-मिरगा ...



















सोन-पांखी के फांफा-मिरगा या बिखहर हो जीव
सबके भीतर बन के रहिथे एकेच आत्मा-शिव
तब कइसे कोनो छोटे-बड़े या ऊंँचहा या नीच
सब वोकरे संतान ये संगी जतका जीव-सजीव

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मो. 98269 92811, 80853 05931

चल संगी मोर बुग-बुग बइला ...

 
















चल संगी मोर बुग-बुग बइला धान मांगे ले जाबो
लुवई-मिंजई भारी माते हे जी, चरिहा-चरिहा पाबो
तोर बर लानहूं फेर दाना-चारा, भूंसा अउ कनकी
साल भर के मोरो थेगहा हो जाही दूनों मजा उड़ाबो

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मो. 98269 92811, 80853 05931

Thursday 17 November 2016

गढ़ना हे त गढ़ले बइहा तोर नवा जनम के रस्ता...

गढ़ना हे त गढ़ले बइहा तोर नवा जनम के रस्ता
झन बीतन दे ए जनम ल निच्चट एकदम सस्ता
परमारथ के कारज ले तैं परलोक म पाबे आसन
होही कहूं फेर दुनिया म आना मिलही सुख-रासन

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मो. 98269 92811, 80853 05931

एक जनम बर होथे पक्का लिखे भाग...

एक जनम बर होथे पक्का लिखे भाग के रेखा
कर ले कुछू उदिम चाहे तैं कर ले कुछू सरेखा
नइ बदलय एक अंश तोर बीते करनी के लेखा
भोगना परथे निच्चट सबला इही आंखी के देखा

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मो. 98269 92811, 80853 05931

तीन पिंड माटी के होथे घर म...

तीन पिंड माटी के होथे घर म जिंकर कुलदेवता
उही आय असल म जेला मैं कहिथौं मूल देवता
मातृशक्ति पितृशक्ति अउ गणशक्ति के उन रूप
उही हमर पहिचान आय अउ उही ईश-स्वरूप

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मो. 98269 92811, 80853 05931

Wednesday 16 November 2016

आदि धर्म मैं कहिथौं काला ...

आदि धर्म मैं कहिथौं काला चिटिक इहू ल जान लेवौ
सृष्टिकाल के तीनों देवता, बस उनला पहिचान लेवौ
संग म रहिथें देवी मन, उन आयं सब उंकरेच अंग
गण-पार्षद सेवक-रक्षक बन रहिथें जी जिंकर संग

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
मो. 98269 92811, 80853 05931

Tuesday 15 November 2016

सबले ऊंचा आत्म ज्ञान के ठउर...

सबले ऊंचा अउ पबरित हे आत्म ज्ञान के ठउर
एकरे सेती कहिथें गुनी मन, एला मुकुट-मउर
तब काबर तैं भटकत हावस जतर-कतर रद्दा म
का नइए चिटको तोला कोनो बात-मरम के सउर

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
 मो. 98269 92811, 80853 05931

Monday 14 November 2016

पर के पाछू भटकय नहीं ...

पर के पाछू भटकय नहीं मिल जाथे जेला ज्ञान
गढ़थे खुद के वो रद्दा नवा, इहीच वोकर पहिचान
कथा-कहानी बांचने वाला का जानय एकर मरम
एकरे सेती वो बांटत रहिथे दुनिया म भारी भरम

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
 मो. 98269 92811, 80853 05931

Wednesday 9 November 2016

रतिहा ल कहां बिताथे...


















जहुंरिया ल का हो जाथे रे, धनी ल का हो जाथे
बिहनिया आथे संझा चले जाथे, रतिहा ल कहां बिताथे...

मंदिर-मस्जिद खोज डरे हौं, गुरुद्वारा म झांके हौं
चारों मुड़ा के चर्च मनला बही-भूती कस ताके हौं
निरगुन घाट म जा के घलो, आंखी पथराथे रे....

मन बैरी मानय नहीं, जिवरा धुक-धुक करथे
कोनो सउत के संसो म तन म आगी कस बरथे
करिया जाथे रे, लाली रंग के सपना ह करिया जाथे...

चंदा उतरगे हे गांव म, जुग-जुग ले हे गली खोर
फेर मोर मयारु संग जुड़ही, कइसे मया के डोर
जमो आस सिरागे रे, बइरी बिरहा बिजराथे न....

* सुशील भोले
 डॉ. बघेल गली, संजय नगर, रायपुर (छ.ग.)
 मोबा. नं. 98269 92811, 80853 05931

Sunday 6 November 2016

खुद धरौ धरम के झंडा ...

कतेक भटकहू पर के पाछू खुद धरौ धरम के झंडा
पुरखा मन सम्हाल राखें हें, जे आदि काल के हंडा
भरे लबालब हे गुन म ये बस एला तुम कबियालौ
नइ लूटहीं फेर तुंहला, कोनोच जात-धरम के पंडा

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर
मो. 98269 92811, 80853 05931

डारा-शाखा म कतेक बिछलबे....

डारा-शाखा म कतेक बिछलबे पेंड़वा ल सीधा धर ले
जड़ संग जइसे वो ठोस रथे फेर तइसे जिनगी गढ़ले
कतेक अमरबे पान-पतइला डारा तो रट ले टूट जाही
फेर इंंकरे चक्कर म मूल घलो तोर हाथ ले छूट जाही

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर
मो. 98269 92811, 80853 05931

Wednesday 2 November 2016

भेदभाव ले भरे व्यवस्था.....

भेदभाव ले भरे व्यवस्था के जे मन पोषक यें
धरम नहीं असल म उन मानवता के शोषक यें
छो़ड़ौ अइसन ग्रंथ-गुरु ल जे तुंहला अलगाथें
शिव बाबा के रद्दा धर लौ जे समता के द्योतक यें

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर
मो. 98269 92811, 80853 05931

मुक्ति देथे जनम-मरन ले...

मुक्ति देथे जनम-मरन ले, केवल शिव बाबा
पाप करम ले बचाए के गुन भरे हे वोकरे ढाबा
जानौ-समझौ कहिथें काबर वोला संहारकर्ता
करथे संहार सबो पाप के, धर लौ काबा-काबा

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर
मो. 98269 92811, 80853 05931

सब देवता के अपन कारज...

सब देवता के अपन कारज, जस गुन तस करथें
इही मुताबिक भक्त ल अपन, फल सबो झन देथें
पाना का हे तब तो तोला ये बात ल ठउका गुन ले
फेर रद्दा ल वो दाता के बने ठोक-बजा के धर ले

* सुशील भोले
संजय नगर, रायपुर
मो. 98269 92811, 80853 05931

Tuesday 1 November 2016

जोहार दाई....


















मोतियन चउंक पुरायेंव... जोहार दाई
डेहरी म दिया ल जलायेंव ....जोहार दाई
छत्तीसगढ़ महतारी परघाये बर,
अंगना म आसन बिछायेंव... जोहार दाई...

ओरी-ओरी धान लुयेन, करपा सकेलेन
बोझा उठा के फेर, सीला बटोरेन
पैर बगरायेन अउ दौंरी ल फांदेन
रात-रात भर बेलन घलो, उसनिंदा खेदेन
तब लछमी के रूप धरे, धान-कटोरा जोहारेंव... जोहार दाई...

बस्तर के बोड़ा सुघ्घर, सरगुजा के चार
जशपुर के मउहा फूल सबले अपार
शबरी के बोइर गुत्तुर, रइपुर के लाटा
नांदगांव के तेंदू पाके, हावय सबके बांटा
महानदी कछार ले, केंवट कांदा मंगायेंव..... जोहार दाई...

छुनुन-छानन साग रांधेंव, गोंदली बघार डारेंव
मुनगा के झोर सुघ्घर, बेसन लगार मारेंव
इड़हर के कड़ही दाई, अम्मट जनाही
अमली के रसा सुघ्घर, कटकट ले भाही
दही-लेवना के मथे मही, आरुग अलगायेंव..... जोहार दाई...

चूरी-पटा साज-संवागा, जम्मो तो आये हे
खिनवा-पैरी सांटी-बिछिया, करधन मन भाये हे
चांपा के कोसा साड़ी, जगजग ले दिखथे
रायगढ़ के बुने कुरती, सुघ्घर वो फभथे
राजधानी के सूती लुगरा, मुंहपोंछनी बनायेंव..... जोहार दाई...

खनर-खनर झांझ-मंजीरा, पंथी अउ रासलीला
करमा के दुम-दुम मांदर, रीलो के हीला-हीला
भोजली के देवी गंगा, जंवारा के जस सेवा
गौरा संग बिराजे हे, देखौ तो बूढ़ा देवा
कुहकी पारत ददरिया संग, सुर-ताल मिलायेंव...जोहार दाई...

सुशील भोले 
40-191, डॉ. बघेल गली,
संजय नगर (टिकरापारा) रायपुर (छ.ग.)
मोबा. नं. 80853-05931, 98269-92811
ईमेल - sushilbhole2@gmail.com